फर्ज़ी डाक्टरों के लिए बनेगी टीम,पड़ेगी हथकड़ियां सीएमओ हुए सख्त

इंडिया रिपब्लिक न्यूज़ से सत्यदेव शुक्ला ब्यूरो चीफ हरदोई 

फर्ज़ी नर्सिंग होम,पैथालॉजी,लैब, कलेक्शन सेंटर और क्लीनिक पर पड़ेंगे छापे

हरदोई। रोज़-रोज़ फर्ज़ी डाक्टरों और उन्ही के इशारे पर चल रहे नर्सिंग होम, पैथालॉजी, जच्चा-बच्चा सेंटर,लैब,कलेक्शन और अल्ट्रासाउंड सेंटर पर शिकंजा कसा जाएगा। इसके लिए सीएमओ डा.रोहिताश्व ने ऐसी फर्ज़ी ठिकानों को ढूंढ़ने के लिए नोडल अधिकारी बनाए हैं। नोडल अधिकारी उनका संचालन करने वालो के खिलाफ केस दर्ज करा कर उन्हें कानून के हवाले करेंगे।

सीएमओ डा.रोहिताश्व ने कहा है कि स्वास्थ्य महकमें के नाम पर कहीं भी फर्ज़ीवाड़ा नहीं होने दिया जाएगा। इसके लिए उन्होंने शाहाबाद सीएचसी अधीक्षक डा.प्रवीण कुमार दीक्षित और अहिरोरी सीएचसी अधीक्षक डा.मनोज कुमार को नोडल अधिकारी बनाया है। इसमें शाहाबाद सीएचसी अधीक्षक डा.दीक्षित को शाहाबाद के अलावा साण्डी, हरपालपुर, टोंडरपुर, सवायजपुर, पिहानी,बावन,भरखनी, हरियावां और टड़ियावां ब्लाक की ज़िम्मेदारी सौंपी है। वहीं अहिरोरी सीएचसी अधीक्षक डा.कुमार को अहिरोरी के अलावा बिलग्राम, माधौगंज, मल्लावां, बेहंदर,सण्डीला, भरावन, कोथावां,सुरसा और कछौना ब्लाक का नोडल अधिकारी बनाया है। सीएमओ ने नोडल अधिकारियों से सख्ती के साथ कहा है कि फर्ज़ी डाक्टरों, नर्सिंग होम, पैथालॉजी, कलेक्शन सेंटर,लैब, जच्चा-बच्चा और अल्ट्रासाउंड सेंटर चलाने वालों को किसी भी हालत में नहीं छोड़ना है। ऐसे लोगों के खिलाफ केस दर्ज करा कर उन्हें कानून के हवाले करना है।



शहर पर भी कसेगा शिकंजा

हरदोई। सीएमओ डा.रोहिताश्व ने नोडल अधिकारी डा.प्रवीण कुमार दीक्षित को शहर में संचालित हो रहे ऐसे ठिकानों को ढूंढ कर उनके ऊपर शिकंजा कसने की ज़िम्मेदारी सौंपी है। सीएमओ ने कहा है कि कहीं पर भी कोई लापरवाही नही बरती जाए।कोई कितना ही असरदार क्यों ना हो,उसको दूसरों की ज़िंदगी से खिलवाड़ करने की बिल्कुल भी छूट नहीं दी जाएगी।

अनाड़ी कर रहें हैं अल्ट्रासाउंड!

पाली। कस्बे में अनाड़ी लोग खुलेआम अल्ट्रासाउंड कर और उसकी रिपोर्ट दे कर सेहत से खिलवाड़ कर रहें हैं। कस्बे में बरगद चौराहा जहां पर शहीद आबिद खां की मज़ार है,ठीक उसके बगल में एक अल्ट्रासाउंड सेंटर है। लोगों का कहना है कि वहां कोई ट्रेंड नहीं बल्कि सारा कुछ अनट्रेंड लोग ही हैं। वहां लगे बोर्ड पर जिन डाक्टर का नाम लिखा गया है,उन्ही डाक्टर के फर्ज़ी दस्तखत कर रिपोर्ट दी जा रहीं हैं। कई वहीं रिपोर्ट गलत भी साबित हो चुकी है। लेकिन ज़िम्मेदारों को इसका पता नहीं।

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